लखनऊ की रश्मि 'लहर' "अमृता प्रीतम पोयट्री अवार्ड" से सम्मानित
लखनऊ :
"विश्व हिन्दी रचनाकार मंच" द्वारा हिन्दी रचनाकारों के प्रोत्साहन हेतु आधुनिक युग की महान कवयित्री "अमृता प्रीतम" की स्मृति में " अमृता प्रीतम राष्ट्रीय काव्य संग्रह" का प्रकाशन किया गया है।
इस काव्य संग्रह में 80 महिला रचनाकारों की रचनाएं प्रकाशित की गई हैं। इसी शुभ अवसर पर लखनऊ की रश्मि 'लहर' "अमृता प्रीतम पोयट्री अवार्ड" से सम्मानित हुई हैं। संस्थापक अध्यक्ष श्री राघवेन्द्र ठाकुर महिलाओं/पुरुषों की रचनाधर्मिता को सदैव निखारने का प्रयास करते रहे हैं। इनके कार्यक्रम में अनेक ऐसे लोग शामिल होते हैं जो जीवन में पहली बार काव्यपाठ कर रहे होते हैं। उनका कहना है कि चूॅंकि उन्हें कोई सरकारी मदद नहीं मिलती है इसीलिए विभिन्न लोगों द्वारा किए गए आर्थिक/रचनात्मक सहयोग से वे यह कार्य भली-भांति कर पाते हैं।
उनके विचार से जब एक रचनाकार की रचनाऍं प्रकाशित होती हैं, उसको अभिव्यक्ति का अवसर मिलता है, सम्मान मिलता है तो रचनाकार को आत्मिक सुख मिलता है तथा समाज में एक पहचान मिलती है।
इस संग्रह का लोकार्पण मंच द्वारा 26 नवम्बर 2023 को लखनऊ में "अमृता प्रीतम पोयट्री एंड टीचर्स अवार्ड सेरेमनी" में किया गया।
इस समारोह में काव्य संग्रह में प्रकाशित रचनाकारों में से चयनित रचनाकारों को मंच द्वारा "अमृता प्रीतम पोयट्री अवार्ड" से सम्मानित किया गया, जिसमें आदरणीय शोभा दीक्षित भावना, नीलम रावत, डाॅ हेमा पाण्डेय, डाॅ विभा प्रकाश, मंजूषा श्रीवास्तव, शिखा गर्ग, रमा दुबे, अनीता अरोड़ा, डाॅ रीमा सिन्हा, सहित अनेक रचनाकार शामिल थे।
लखनऊ के ऐशबाग स्थित तुलसी सभागार में दिनांक 26.11.2023 को भारत के विभिन्न हिस्सों से कवि-कवयित्रियों ने शिरकत की। संस्थापक अध्यक्ष राघवेन्द्र ठाकुर जी, कार्यकारी अध्यक्ष (लखनऊ इकाई) डाॅ विभा प्रकाश, अध्यक्ष (लखनऊ इकाई) डाॅ नीलम रावत, महासचिव (लखनऊ इकाई) रश्मि 'लहर' ने सबको शुभकामना दी तथा आभार व्यक्त किया।
सभी रचनाकारों ने अद्भुत काव्यपाठ कर सबका मन मोह लिया। कार्यक्रम का आरंभ मंजूषा श्रीवास्तव की वाणी वन्दना से हुआ। आराधना शुक्ला ने सशक्त मंच संचालन किया। रश्मि 'लहर' ने स्व. अमृता प्रीतम जी का संक्षिप्त परिचय प्रस्तुत किया। मध्य प्रदेश, वाराणसी, प्रयागराज, शाहजहांपुर, कानपुर, मुंबई समेत कई राज्यों के रचनाकारों ने शामिल होकर कार्यक्रम की शोभा बढ़ाई। इसमें डाॅ विभा प्रकाश के मुक्तक संग्रह की पुस्तक का भी लोकार्पण किया गया।
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