“शिक्षण केवल ज्ञान का नहीं वरन् अनुशासन और वैचारिक प्रशिक्षण का प्रकल्प भी है - डॉ. भरत शर्मा“

“शिक्षण केवल ज्ञान का नहीं वरन् अनुशासन और वैचारिक प्रशिक्षण का प्रकल्प भी है - डॉ. भरत शर्मा“

इन्दौर : 
मेघावी विद्यार्थियों और शिक्षकों के सम्मान और मध्यप्रदेश के प्रतिष्ठित विद्यालय “रैंकर्स इंटरनेशनल” के वार्षिकोत्सव में आयोजित कार्यक्रम “तरंग” में बतौर मुख्य अतिथि आमंत्रित संस्कृति मंत्रालय - भारत सरकार के सदस्य, डॉ. भरत शर्मा ने कार्यक्रम में उपस्थित विद्यालय के प्रबंधक, संस्थापक, प्राचार्य, छात्र-छात्रायें तथा पालक को संबोधिजगत करते हुए उक्त बात कही। आपने कहा कि आज का युग बहुत तेजी से परिवर्तत्रित हो रहा है । ऑक्सफोर्ड के एक अध्ययन के अनुसार २०३० में कई ऐसे नए उद्यम और जॉब मिलेंगे जिसके लिए आपने शायद आज शिक्षण प्राप्त ना किया हो। आर्टिफीसियल इंटेलिजेंस के युग में तकनीकी विकास, अनुसंधान और आविष्कार की गति बहुत तेजी से बढ़ी है।
इस स्थिति के विद्यालय में शिक्षकों की जवाबदारी बन जाती है की जीवन में आने वाले अप्रत्याशित बदलावों से रूबरू होने के लिए वैचारिक प्रशिक्षण दे कर विद्यार्थियों को तैयार करे। भविष्य में होने वाली प्रतिस्पर्धा के लिए तैयारी करने के लिए और जीवन शैली पर होने वाले प्रभाव के लिए किताबी ज्ञान के अलावा क्या और क्यो की सोच के विपरीत कैसे करना है, समझने की दूरदर्शिता हेतु प्रशिक्षण देने का समय आ गया है । आपने बड़ी ही सुंदर और व्यवस्थित कार्यक्रम के आयोजन करने पर संस्था के पदाधिकारी और छात्रों को बधाई देते हुए कहा कि आज की पीढ़ी को भारतीय संस्कृति की जानकारी और अनुशासित कर देश के प्रति जिम्मेवार नागरिक होने के लिए तैयार किए जाना एक बड़ी चुनौती है। विद्यालय द्वारा भारतीय संस्कृति पर आधारित सांस्कृतिक आयोजन के प्रदर्शन को सराहते हुए बताया कि हमारे देश के यशस्वी प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी के सपनों का भारत और भारत को विश्वगुरु बनाने का सपना आज की युवा पीढ़ी ही साकार करेगी।
संस्था के संस्थापक श्री आर.सी.शर्मा ने विद्यालय द्वारा किए जानेवाले वार्षिक कैलेंडर की जानकारी दी। आपने संस्था द्वारा भारतीय संस्कृति की जागृति के प्रति अपनी प्रतिबद्धता का विश्वास दिलाया और मौजूदा पालकों से कहा की आपके बच्चे ईश्वरीय स्वरूप है जब भी ये आपसे मिले को दो मिनट इन्हें केवल गले लगाकर इनमे होने वाले बदलाव आप महसूस करेंगे। बच्चों के शिक्षण के प्रति परिवार, विशेषकर माँ और पिता की जवाबदारी अति महत्वपूर्ण है।
संस्था के डायरेक्टर श्री कपिल बिरथरे, श्री कमल शर्मा और प्राचार्य श्रीमती ममता द्विवेदी ने मुख्य अतिथि का स्वागत शाल, पुष्पगुच्छ और स्मृतिचिह्न देकर किया और आभार व्यक्त किया । कार्यक्रम में विद्यालय के प्रावीण्य सूची में आने वाले और विभिन्न गतिविधियों में उल्लेखनीय उपलब्धि प्रात करने वाले विद्यार्थियों को प्रमाण पत्र देकर सम्मानित किया गया और संस्था में पिछले १० वर्षों से कार्यरत शिक्षक और कर्मचारियों को भी विशेष रूप से सम्मानित किया गया। 
कार्यक्रम में विद्यालय के प्रबंधक, संस्थापक, प्राचार्य, अंजलि बिरथरे, सुश्री पल्लवी जी, श्री गौरव शर्मा,सरपंच श्री गुर्जर, छात्र-छात्रायें तथा पालक उपस्थित रहे ।

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